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एक छत के नीचे 'प्राइमरी का मास्टर' से जुड़ी शिक्षा विभाग की समस्त सूचनाएं एक साथ

FAKE : शिक्षा विभाग में शिक्षक भर्ती के नाम पर ठगी, शातिरों ने प्रौढ़ शिक्षा विस्तार सेवायें नाम से मनगढ़ंत विभाग बनाकर ग्राम प्रधानों को पैम्फलेट और आवेदन पत्र भेजे ।

SHIKSHAK BHARTI : शिक्षा विभाग में शिक्षक भर्ती के नाम पर ठगी, शातिरों ने प्रौढ़ शिक्षा विस्तार सेवायें नाम से मनगढ़ंत विभाग बनाकर ग्राम प्रधानों को पैम्फलेट और आवेदन पत्र भेजे ।
   
इलाहाबाद। शिक्षा विभाग में शिक्षक भर्ती के नाम पर फर्जीवाड़ा शुरू हो गया है। शातिरों ने प्रौढ़ शिक्षा विस्तार सेवायें नाम से मनगढ़ंत विभाग बनाकर ग्राम प्रधानों को पैम्फलेट और आवेदन पत्र भेजे हैं। पैम्फलेट में भारत के सभी गांवों में शिक्षा के विकास के लिए प्रौढ़ शिक्षा विस्तार सेवाओं के द्वारा नियुक्ति के आवेदन पत्र आमंत्रित करने की बात कही गयी है जबकि इस नाम से राज्य या केन्द्र सरकार का कोई विभाग ही नहीं है।

खास बात यह कि सरकारी प्राथमिक और उच्च प्राथमिक स्कूलों में शिक्षकों की भर्ती करने वाले बेसिक शिक्षा परिषद को ऐसी किसी भर्ती की जानकारी नहीं है। शातिरों ने कम पढ़े-लिखे (महज 12वीं पास) बेरोजगारों को हर गांव में दो शिक्षक व दो शिक्षिका के रूप में नियुक्ति का झांसा दिया है। 7500 से 11000 मानदेय पर नौकरी के लिए आवेदन की आखिरी तारीख 5 दिसंबर 2016 बताई गई है।

ग्राम प्रधानों के रुतबे का लाभ उठाने के मकसद से शातिरों ने सीधे प्रधानों को आवेदन पत्र व अन्य सूचनाएं भेजी है। पैम्फलेट के अनुसार 10 दिसंबर 2016 को ग्राम सभा में नियुक्ति कराई जाएगी। आवेदन फीस के रूप में 660 रुपए सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के खाता संख्या 3575126201 (जो कि किसी नीरज शर्मा लखनऊ के नाम है) में डालने को कहा गया है। नीरज शर्मा को प्रमुख सचिव उत्तर प्रदेश शासन बताया गया है।

शर्तों में साफ लिखा है कि फीस की प्राप्ति रसीद आवेदन फार्म के साथ संलग्न कर भेजना होगा नहीं तो फार्म निरस्त मान लिया जाएगा। उम्मीदवारों को उनके चयन की सूचना ग्राम प्रधान के रजिस्टर्ड पते पर भेजने की बात कही गयी है।

प्रधानों ने सचिव बेसिक शिक्षा परिषद से की शिकायत
इलाहाबाद। प्रौढ़ शिक्षा विस्तार सेवायें नाम से हर गांव में दो-दो महिला व पुरुष शिक्षकों की नियुक्ति संबंधी पैम्फलेट और आवेदन पत्र मिलने के बाद ग्राम प्रधानों ने सचिव बेसिक शिक्षा परिषद को पत्र लिखकर पूरे प्रकरण की जांच कराने की मांग की है। रहीमाबाद के ग्राम प्रधान मो. उमर और कटहुला गौसपुर की प्रधान एकता ने बुधवार को पत्र लिखकर उचित कार्यवाही करने की मांग की है।

कदम-कदम पर फर्जीवाड़ा

चयन की योग्यता 12वीं पास जबकि बीटीसी, बीएड या अन्य प्रशिक्षण और टीईटी पास करने के बाद ही शिक्षक के पद पर नियुक्ति होती है ।

पैम्फलेट में जिस वेबसाइट www.prodhshiksha.in का जिक्र है वह खुल ही नहीं रही ।

जिस शासनादेश 426 का हवाला है वह 15 अगस्त 2016 को जारी हुआ बताया गया है जबकि उस दिन छुट्टी रहती है ।

दो हेल्पलाइन नंबर 07705880132 व 07705881247 दिया है उस पर संपर्क करने पर ग्राम प्रधान से बात करने को कहा जा रहा है। जबकि ग्राम प्रधानों को ही इस विषय में कोई जानकारी नहीं।
इनका कहना है ।

बेसिक शिक्षा परिषद को ऐसी किसी भर्ती की कोई जानकारी नहीं है। न ही परिषद को ऐसी भर्ती के लिए शासनादेश मिला है।
- स्कंद शुक्ला, उप सचिव बेसिक शिक्षा परिषद

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  1. 📌 FAKE : शिक्षा विभाग में शिक्षक भर्ती के नाम पर ठगी, शातिरों ने प्रौढ़ शिक्षा विस्तार सेवायें नाम से मनगढ़ंत विभाग बनाकर ग्राम प्रधानों को पैम्फलेट और आवेदन पत्र भेजे ।
    👉 http://www.basicshikshanews.com/2016/11/fake.html

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