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एक छत के नीचे 'प्राइमरी का मास्टर' से जुड़ी शिक्षा विभाग की समस्त सूचनाएं एक साथ

समायोजित हो रहे शिक्षामित्रों के लिए टीईटी जरूरी : सुनवाई 7 अगस्त को

समायोजित हो रहे शिक्षामित्रों के लिए टीईटी जरूरी : सुनवाई 7 अगस्त को

इलाहाबाद: प्रदेश सरकार भले ही बड़े पैमाने पर शिक्षामित्रों का समायोजन कर रही है, लेकिन केंद्र सरकार के अधीन मंत्रलय और शैक्षिक संस्थान प्रदेश सरकार के इस कदम से सहमत नहीं है। नेशनल काउंसिल फार टीचर एजूकेशन ने जन सूचना अधिकार के जवाब में कहा है कि शिक्षामित्रों को भी टीईटी की परीक्षा से गुजरना होगा। इन टिप्पणियों से भले ही अभी नियुक्ति प्रक्रिया पर असर नहीं पड़ रहा है, लेकिन कोर्ट में जो याचिकाएं लंबित हैं, इससे संघर्ष समिति को बल मिलना तय है। प्रदेश सरकार ने शिक्षामित्रों के समायोजन के लिए बीते 19 जून को शासनादेश जारी किया था। 58 हजार शिक्षामित्रों को 31 जुलाई तक नियुक्ति पत्र देना है। उधर, बीटीसी संघर्ष समिति और टीईटी मोर्चा उत्तर प्रदेश ने समायोजन की इस प्रक्रिया को हाईकोर्ट में चुनौती दी है। इस प्रकरण में तीन अलग-अलग याचिकाओं पर सुनवाई चल रही है। वैसे कोर्ट ने अभी तक समायोजन प्रक्रिया को रोका नहीं है। इसी बीच मानव संसाधन विकास मंत्रलय ने एक जनसूचना के जवाब में स्पष्ट किया है कि शिक्षामित्रों की नियुक्ति में टीईटी करवाना जरूरी है, इसमें यूपी सरकार को कोई राहत नहीं दी गई है। मंत्रलय के साथ ही एनसीटीई ने भी इस पर मुहर लगायी है।

साभार : दैनिक जागरण

    ‘शिक्षामित्रों को टीईटी जरूरी’ 

इलाहाबाद : प्रदेश सरकार भले ही बड़े पैमाने पर शिक्षामित्रों का समायोजन कर रही है, लेकिन केंद्र सरकार के अधीन मंत्रलय और शैक्षिक संस्थान प्रदेश सरकार के इस कदम से सहमत नहीं है। एनसीटीई ने जन सूचना के जवाब में कहा है कि शिक्षामित्रों को भी टीईटी की परीक्षा से गुजरना होगा। इन टिप्पणियों से भले ही अभी नियुक्ति प्रक्रिया पर असर नहीं पड़ रहा है, लेकिन कोर्ट में जो याचिकाएं लंबित हैं, इससे संघर्ष समिति को बल मिलना तय है। प्रदेश सरकार ने शिक्षामित्रों के समायोजन के लिए बीते 19 जून को शासनादेश जारी किया था। इस प्रक्रिया में शिक्षकों की नियुक्ति की नियमावली भी बदली गई है। उसके आधार पर जुलाई महीने में जनपदवार शिक्षामित्रों की काउंसिलिंग हुई और विकल्प मांगे जा रहे हैं। 58 हजार शिक्षामित्रों को 31 जुलाई तक नियुक्ति पत्र दिया जाना है। उधर, बीटीसी संघर्ष समिति और टेट मोर्चा उत्तर प्रदेश ने समायोजन की इस प्रक्रिया को हाईकोर्ट में चुनौती दी है। बताते हैं कि इस प्रकरण में तीन अलग-अलग याचिकाओं पर सुनवाई चल रही है। वैसे कोर्ट ने अभी तक समायोजन प्रक्रिया को रोका नहीं है। इसी बीच मानव संसाधन विकास मंत्रलय ने भी एक जनसूचना के जवाब में स्पष्ट किया है कि शिक्षामित्रों की नियुक्ति में टीईटी करवाना जरूरी है, इसमें यूपी सरकार को कोई राहत नहीं दी गई है। मंत्रलय के साथ ही राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद यानी एनसीटीई ने भी इस पर मुहर लगायी है। मथुरा के तालाब शाही कोसीकलां निवासी ब्रजेश कुमार को जनसूचना के जवाब में एनसीटीई ने स्पष्ट किया है कि शिक्षामित्रों को भी टीईटी की परीक्षा से गुजरना होगा। शिक्षामित्रों में शैक्षिक गुणवत्ता लाने के लिए उन्हें प्रशिक्षित कराया जाना जरूरी है। एनसीटीई ने यह जवाब यूपी सरकार के शिक्षामित्रों की समायोजन प्रक्रिया को देखते हुए नहीं दिया है, बल्कि 2011 में ही दो टूक कहा था कि टीईटी सभी के लिए अनिवार्य है। हाल में ही उत्तराखंड हाईकोर्ट ने भी शिक्षामित्रों की नियुक्ति के लिए टीईटी को अनिवार्य बताया है। इस उठापटक से बेपरवाह प्राथमिक शिक्षा विभाग शिक्षामित्रों को नियुक्ति पत्र देने जा रहा है। माना जा रहा है कि यह काम महज दो दिन में ही पूरा हो जाएगा।

    महिला शिक्षामित्रों ने कराई काउंसिलिंग-

इलाहाबाद : प्राथमिक विद्यालयों में पठन-पाठन दुरुस्त करने के लिए शासन शिक्षामित्रों का समायोजन सहायक अध्यापक पद पर कर रहा है। इसके तहत सर्वशिक्षा अभियान कार्यालय पर महिला शिक्षामित्रों की काउंसिलिंग हुई। एक जनवरी 1982 से 15 जून 1990 आयुवर्ग की अभ्यर्थियों को बुलाया गया था। बुधवार को दिनभर चली काउंसिलिंग में बुलाए गए 250 शिक्षामित्रों में 248 ने भाग लिया। इलाहाबाद में 1400 शिक्षामित्रों का समायोजन है। इसमें पुरुष शिक्षामित्रों की काउंसिलिंग पहले हो चुकी है। काउंसिलिंग कराने वाले शिक्षामित्रों को शुक्रवार को नियुक्ति पत्र दिया जाएगा।

    शिक्षामित्रों के मसले पर सुनवाई 7 को-

इलाहाबाद : शिक्षामित्रों को सहायक अध्यापक बनाने की सरकारी नीति के खिलाफ दाखिल याचिका पर सुनवाई सात अगस्त को मुख्य न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड़ एवं न्यायमूर्ति दिलीप गुप्ता की खंडपीठ करेगी। याचिका में बिना टीईटी पास किए शिक्षामित्रों को सहायक अध्यापक बनाने की वैधानिकता को चुनौती दी गई है।

"हम प्रदेश सरकार के आदेश पर शिक्षामित्रों के समायोजन प्रक्रिया को अंतिम रूप देने में जुटे हैं। केंद्र सरकार के मंत्रालय और शैक्षिक संस्थानों की मंशा की जानकारी नहीं है और न ही सरकार ने कोई ऐसा आदेश दिया है। इसलिए जल्द ही शिक्षामित्र चरणवार सहायक शिक्षक बन जाएंगे"
                                                                  - राजकुमार। बेसिक शिक्षा अधिकारी इलाहाबाद।

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